सीडीआरआई स्टाफ क्लब ने प्रेक्षागृह में प्रस्तुत किया नाट्य मंचन “आख़िरी बसंत”

LUCKNOW: केंद्रीय औषधि अनुसंधान संस्थान (CDRI) के प्रेक्षागृह में स्वतंत्रता दिवस की पूर्व संध्या पर सीडीआरआई स्टाफ क्लब के तत्वावधान में दर्पण द्वारा नाट्य प्रस्तुति “आख़िरी बसंत” का सफल मंचन किया गया। खचाखच भरे सभागार में कलाकारों ने बुजुर्ग दंपत्ति के अकेलेपन, उनके भावनात्मक संघर्ष और जीवन में नई ऊर्जा खोजने की मार्मिक यात्रा को सजीव रूप में प्रस्तुत किया। दर्शकों की आंखों में आंसू और लगातार गूंजती तालियों ने इस नाटक की असरदार प्रस्तुति को और भी यादगार बना दिया।

कहानी की झलक

“आख़िरी बसंत” एक बुजुर्ग दंपत्ति की कहानी है, जो अकेलेपन के साये में जी रहे हैं। नाटक उनके मनोवैज्ञानिक द्वंद्व, पारिवारिक रिश्तों और एक-दूसरे के सहारे जीवन में नई उमंग खोजने की भावनात्मक यात्रा को दर्शाता है। कलाकारों ने भावनाओं की गहराई, संवाद की संवेदनशीलता और अभिनय की बारीकियों से दर्शकों को बांधे रखा।

निदेशक सहित अन्‍य साइंटिस्‍ट रहे मौजूद

कार्यक्रम में सीमैप (CIMAP) के निदेशक डॉ. प्रबोध त्रिवेदी और सीडीआरआई (CDRI) निदेशक डॉ. राधा रंगराजन सहित कई वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं अधिकारी उपस्थित रहे। मंच संचालन का दायित्व प्रख्यात कवि पंकज प्रसून ने निभाया।

इस मंचन ने न केवल दर्शकों को भावनात्मक रूप से छुआ, बल्कि सीडीआरआई स्टाफ क्लब की कलात्मक क्षमता और नाट्य मंचन की उत्कृष्ट गुणवत्ता को भी उजागर किया। “आख़िरी बसंत” ने संदेश दिया कि जीवन के अंतिम पड़ाव पर भी रिश्तों की गर्माहट और उम्मीद का वसंत खिल सकता है।

मुख्य कलाकार

तकनीकी और बैकस्टेज टीम

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