फ़िल्म फुले (Phule) महज सिनेमाई अनुभव नहीं बल्कि असमानता के विरुद्ध सशक्त प्रतिरोध की कहानी है : डॉ. आशुतोष वर्मा
‘फुले’ (Phule) फिल्म की विशेष स्क्रीनिंग में गूंजा सामाजिक न्याय का स्वर, सपा प्रवक्ता आशुतोष वर्मा ने की टैक्स फ्री करने की मांग

Lucknow: फ़िल्म ‘फुले’ (Phule) महज़ एक सिनेमाई अनुभव नहीं, बल्कि सदियों से चले आ रहे जातिगत शोषण, स्त्री-विरोध और सामाजिक असमानता के विरुद्ध एक सशक्त प्रतिरोध की कहानी है। महात्मा ज्योतिबा फुले (Jyotiba Phule) और क्रांतिज्योति सावित्रीबाई फुले (Savitribai Phule) ने उस समय शिक्षा, समानता और स्त्री अधिकारों की जो मशाल जलायी थी, वो आज भी हम सबके लिए प्रेरणा का स्रोत है।
ये बात समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ. आशुतोष वर्मा (Dr Ashutosh Verma) ने कही। डॉ. आशुतोष वर्मा ने ‘शनिवार 10 मई को हजरतगंज स्थित सहारागंज पीवीआर में फुले फ़िल्म की विशेष स्क्रीनिंग का आयोजन किया था। जिसमें समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) लखनऊ महानगर के तमाम पदाधिकारी, कार्यकर्ता एवं पीडीए की विचारधारा को मानने वाले तमाम लोग मौजूद रहे। फ़िल्म “फुले” की विशेष स्क्रीनिंग दोपहर 3:45 से शुरू हुई।
‘फुले‘ फिल्म को टैक्स फ्री करने की मांग
सपा प्रवक्ता डॉ. आशुतोष वर्मा ने ‘फुले‘ (Phule) फिल्म को प्रदेश में टैक्स फ्री करने की मांग की। डॉ. आशुतोष वर्मा ने कहा कि यह फ़िल्म दर्शकों को इतिहास के उन पन्नों से रूबरू कराती है जिन्हें अक्सर भुला दिया गया। जहां एक जोड़ी ने मिलकर समाज को शिक्षित करने, स्त्रियों को अधिकार दिलाने और दलितों, पिछड़ों के हक़ में आवाज़ उठाने का साहस दिखाया।

यह फ़िल्म हर उस व्यक्ति को देखनी चाहिए जो एक समतामूलक और न्यायपूर्ण भारत का सपना देखता है। यह आयोजन न केवल एक ऐतिहासिक स्मरण था, बल्कि सामाजिक चेतना, समानता और शिक्षा के अधिकार की विचारधारा को जन-जन तक पहुँचाने का एक सशक्त माध्यम भी सिद्ध हुआ।
डॉ. आशुतोष वर्मा ने बताया कि इस विशेष स्क्रीनिंग में अनेक शिक्षाविदों, सामाजिक कार्यकर्ताओं, जनप्रतिनिधियों, छात्रों और फिल्म समीक्षकों की उपस्थिति रही। सभी ने फ़िल्म की विषयवस्तु, निर्देशन और अभिनय की सराहना की तथा इसे सामाजिक बदलाव का वाहक बताया।
विशेष स्क्रीनिंग कार्यक्रम में डॉ. आशुतोष वर्मा पटेल राष्ट्रीय प्रवक्ता समाजवादी पार्टी आयोजक, फ़ाक़िर सिद्दीकी नगर अध्यक्ष, सुशील दीक्षित पूर्व नगर अध्यक्ष, नाहिद लारी खान, अनीस राज़ा, विनीत कुशवाहा, राम करन निर्मल, फ़खरूल हसन चाँद, नवीन धवन बंटी, पूजा शुक्ला, विजय सिंह यादव, दीपक रंजन, अतहर हुसैन, रितेश पटेल, महेंद्र यादव, रज़िया नवाज़, वंदना मिश्रा, मीरा वर्धन, किन्नर पायल सिंह, बक्कास खान, वंदना चतुर्वेदी, जुबैर, आदि के अलावा विभिन्न सामाजिक संगठन के प्रतिनिधियों सहित सैकड़ों कार्यकर्ताओं ने भी ‘फुले‘ फिल्म देखी।