एफएसडीए की टीम को देख मेडिकल स्टोर बंद कर भागे

Lucknow: नशीली व नकली दवाओं की बिक्री के खिलाफ खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग (FSDA) ने लखनऊ में सोमवार को कार्रवाई की। पीजीआई के पास व निरालानगर स्थित 7 मेडिकल स्टोरों पर छापेमारी की गई। कार्रवाई के दौरान 8 संदिग्ध दवाओं के नमूने लिए गए। इनमें दो नारकोटिक्स की कैटेगरी में आते हैं।
सहायक आयुक्त बृजेश कुमार के नेतृत्व में ड्रग इंस्पेक्टर संदेश मौर्य और विवेक कुमार सिंह ने छापेमारी की। इस छापेमारी के दौरान मेसर्स शुक्ला मेडिकोस, न्यू खालसा मेडिकल एंड सर्जिकल, और जीलैब फार्मेसी प्रा. लि. बगैर फार्मासिस्ट के चलते पाए गए। इन पर शेड्यूल दवाओं की बिक्री पर रोक लगा दी गई है। सहायक आयुक्त ने कहा कि नॉरकोटिक्स औषधियों के अवैध कारोबार के विरुद्ध हमारा अभियान लगातार जारी रहेगा। सभी मेडिकल स्टोरों को निर्देशित किया गया है कि नशीली औषधियों की खरीद-फरोख्त केवल सत्यापन के बाद ही की जाए।
एजेंट और डॉक्टरों का गठजोड़
छापेमारी के दौरान पीजीआई के डॉक्टरों और मेडिकल स्टोर संचालकों के संभावित गठजोड़ का भी खुलासा हुआ। मरीजों ने बताया कि उन्हें पीजीआई परिसर के भीतर से एजेंट कम कीमत पर दवा दिलाने के नाम पर बाहर के स्टोर तक लेकर आए थे। यह देख अधिकारी भी दंग रह गए।
मेडिकल स्टोरों में मची भगदड़
सोमवार को जैसे ही एफएसडीए की टीमें पहुंचीं, कई मेडिकल स्टोर बंद कर संचालक भाग निकले। कुछ एजेंट अपने विजिटिंग कार्ड तक सडक़ पर फेंककर फरार हो गए। तीन घंटे तक चली कार्रवाई में बड़ी संख्या में मरीज और तीमारदार मौजूद रहे। एफएसडीए की टीम ने मेदांता फार्मेसी, शम्बूका फार्मेसी, निराला फार्मेसी और त्रिवेणीनगर स्थित जीलैब फार्मेसी में भी छापा मारा। जीलैब में भी फार्मासिस्ट की अनुपस्थिति पाई गई। सभी संदिग्ध दवाओं के नमूने जांच के लिए आगरा की राजकीय प्रयोगशाला भेजे गए हैं।