RMLIMS अंतरराष्ट्रीय नर्सेज दिवस पर लखनऊ में सप्ताहभर चले कार्यक्रमों के साथ नर्सों को दी गई प्रेरणा, सम्मान और संदेश
International Nurses Day

Lucknow: लखनऊ के प्रतिष्ठित संस्थान में अंतरराष्ट्रीय नर्सेज दिवस (International Nurses Day) के अवसर पर 6 मई से 12 मई तक विशेष कार्यक्रमों की श्रृंखला आयोजित की गई, जिसका उद्देश्य नर्सिंग पेशे की महत्ता को रेखांकित करना और नर्सिंग स्टाफ का मनोबल बढ़ाना था।
इन कार्यक्रमों की शुरुआत संस्थान के निदेशक प्रो. सी.एम. सिंह द्वारा दीप प्रज्वलित कर की गई। उद्घाटन समारोह में संस्थान के चिकित्सा अधीक्षक, वरिष्ठ फैकल्टी सदस्य, मुख्य नर्सिंग अधिकारी श्रीमती सुमन सिंह, सर्मपण नर्सिंग कॉलेज की प्राचार्य डॉ. दीप्ति शुक्ला और अन्य अधिकारीगण उपस्थित रहे।
नर्सिंग को समर्पित सप्ताहभर की गतिविधियाँ
इस वर्ष की थीम “हमारी नर्से, हमारा भविष्य – नर्सों की देखभाल से अर्थव्यवस्था मजबूत होती है” रही, जिसके तहत विभिन्न कार्यक्रमों का आयोजन हुआ।
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सांस्कृतिक और रचनात्मक कार्यक्रम (8–9 मई)
नर्सिंग अधिकारियों द्वारा प्रस्तुत रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रमों ने सभी का मन मोह लिया। मुख्य नर्सिंग अधिकारी श्रीमती सुमन सिंह ने अपने अभिभाषण में संगीत को एक थेरेपी बताते हुए कहा कि संगीत मानसिक स्वास्थ्य के लिए बेहद लाभकारी है।
वृक्षारोपण और खेलकूद प्रतियोगिताएँ (10 मई)
10 मई को OPD भवन परिसर में वृक्षारोपण कर पर्यावरण संरक्षण का संदेश दिया गया। उसके बाद 100 मीटर दौड़, रस्साकशी जैसे खेलों का आयोजन हुआ, जिसमें नर्सिंग स्टाफ ने उत्साहपूर्वक भाग लिया।
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कार्डियक नर्सिंग सेमिनार (11 मई)
CTVS विभाग द्वारा आयोजित कार्डियक नर्सिंग सेमिनार में हृदय रोगियों की देखभाल में नर्स की भूमिका पर विशेषज्ञों ने प्रकाश डाला। बताया गया कि कार्डियक केयर नर्स कोरोनरी आर्टरी डिज़ीज़ से लेकर बायपास सर्जरी तक के मरीजों की देखभाल करती हैं।
समापन समारोह (12 मई)
समापन समारोह में निदेशक प्रो. (डॉ.) सी.एम. सिंह ने फ्लोरेंस नाइटिंगेल की जीवनी पर प्रकाश डालते हुए नर्सिंग पेशे को करुणा और सेवा की सच्ची मिसाल बताया। उन्होंने कहा कि नर्सिंग पेशे में सहानुभूति, सेवा और संवेदनशीलता सबसे जरूरी तत्व हैं।
चिकित्सा अधीक्षक प्रो. (डॉ.) विक्रम सिंह ने अपने संबोधन में नर्सों को सम्मान देने की आवश्यकता पर बल देते हुए कहा कि जैसे महात्मा बुद्ध ने सेवा को जीवन का उद्देश्य बनाया, वैसे ही नर्सों को भी निःस्वार्थ सेवा भावना के साथ काम करना चाहिए।
नर्सों की भूमिका और जिम्मेदारी पर जोर
मुख्य नर्सिंग अधिकारी श्रीमती सुमन सिंह ने बताया कि अंतरराष्ट्रीय नर्सिंग दिवस की शुरुआत 1965 में इंटरनेशनल काउंसिल ऑफ नर्सेज द्वारा की गई थी और 1974 से हर वर्ष 12 मई को फ्लोरेंस नाइटिंगेल के जन्मदिवस पर यह दिवस मनाया जाता है। उन्होंने कहा कि नर्सें न सिर्फ अस्पताल की आत्मा होती हैं, बल्कि मरीजों के जीवन की रक्षा में उनकी भूमिका अमूल्य होती है।
उन्होंने नर्सों को तकनीकी रूप से और अधिक सक्षम बनने, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के युग में सचेत रहने और अपने कार्यों के लिए गौरव महसूस करने की प्रेरणा दी।
कार्यक्रम के अंत में निदेशक एवं चिकित्सा अधीक्षक द्वारा उत्कृष्ट सेवा देने वाले नर्सिंग स्टाफ, छात्रों और कर्मचारियों को पुरस्कार देकर सम्मानित किया गया।