मिनरल वॉटर के नाम पर मंगा रहे थे ऑक्सीटोसिन

Lucknow: राजधानी लखनऊ के बुद्धेश्वर इलाके में एसटीएफ (STF) ने तीन लोगों को गिरफ्तार किया है। ये लोग किराने की दुकाने की आड़ में अवैध तरीके से ऑक्सीटोसिन इंजेक्शन बेच रहे थे। इन लोगों के पास से भारी मात्रा में ऑक्सीटोसिन (OXYTOCIN) इंजेक्शन बरामद हुए हैं। इनकी कीमत करीब 1.20 करोड़ रुपये है। पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि वह बिहार से मिनरल वॉटर के नाम हाई डेन्सिटी (High Density) के आक्सीटोसीन इंजेक्शन मंगाते थे। इसमें जरूरत अनुसार मिलावट कर एम्पुल (Ampoule) में पैक लखनऊ व आस-पास के इलाको में सप्लाइ करते थे।
स्पेशल टास्क फोर्स (STF) को सूचना मिली कि तस्कर बिहार से ऑक्सीटोसिन यूपी में ला रहे हैं। यह ऑक्सीटोसिन इंजेक्शन लखनऊ के साथ आस पास के जिलों में अवैध रूप से बेचा जा रहा है। एसटीएफ के इंसपेक्टर दिलीप कुमार के नेतृत्व में एक टीम तैयार की गई। टीम में दिलीप के साथ उप निरीक्षण विनोद कुमार सिंह अशोक गुप्ता, राजेश मौर्य, रूद्र नारायण, विजय वर्मा, कौशलेन्द्र सिंह व विष्णु कुमार ने मोहान रोड बुद्धेश्वर चौराहे के निकट बनी एक किराने की दुकान से तीन लोगों को गिरफ्तार किया। इस मकान में भारी मात्रा में अवैध आक्सीटोसीन बनाई जा रही है। गिरफ्तार अभियुक्तों के विरूद्ध थाना काकोरी में 217/2025 धारा 318(4), 280, 276, 112 बीएनएस में अभियोग पंजीकृत कराया गया है। एसटीएफ ने मौके से एक डाला, तीन मोबाइल, 800 खाली बोतलें और 136 रबर कैप समेत कई अन्य सामान जब्त किए हैं।
कार्यवाई में शामिल हुए एफएसडीए अफसर
अवैध रूप से ऑक्सीटोसिन बनाने व बेचने की खबर मिलने पर एसटीएफ ने खाद्य सुरक्षा और औषधि विभाग (FSDA) को भी सूचित कर दिया था। इस पर डिप्टी कमिश्नर बृजेश सिंह व निरीक्षक विवेक सिंह भी मौके पर पहुंचे और इंजेक्शन की जांच की। जांच में पता चला कि जो ऑक्सीटोसिन बिहार से आ रहा था वह हाई डेन्सिटी का था। इस कारण मिलावट कर उसकी मात्रा बढ़ाना आसान था। तस्तर इसी फार्मूले पर काम कर रहे थे। पूछताछ में बताया कि वह ऑक्सीटोसिन का पार्सल मिनरल वॉटर के नाम पर मंगाते थे। फिर उसमें मिलावट करके लखनऊ और आस-पास के जनपदों में इसकी अवैध रूप से सप्लाई करते है। ऑक्सीटोसिन को जरूरत के अनुसार अलग-अलग साइज के एम्पुल में पैक किया जाता था।
प्रतिबन्धित है ऑक्सीटोसिन की बिक्री
स्वस्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय भारत सरकार के गजट नोटिफिकेशन संख्या: 242 (ई) 3-4-2001 द्वारा औषधि एवं प्रशाधन नियमावली-1945 के नियम 105 के अन्तर्गत आक्सीटोसिन इन्जेक्शन की बिक्री मात्र सिंगल यूनिट ब्लिस्टर पैक में ही की जा सकती है। बगैर अनुमति के अवैध रूप से इसकी बिक्री नहंी की जा सकती। आक्सीटोसिन कई प्रकार की बीमारियों का कारण बन सकती है। कई लोग इस इन्जेक्शन का प्रयोग पशुओं के दुध निकालने, सब्जियों एवं फलों को कम समय से अधिक विकसित करने में करते हैं। बरामद किए गए इंजेक्शन के सैम्पल जांच के लिए प्रयोगशाला भेजे जा रहे हैं।